बार एसोसिएशन गाजियाबाद ने भी जारी किया पत्र
गाजियाबाद, (करंट क्राइम )। मंगलवार को गाजियाबाद कचहरी में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, डीजीपी उत्तर प्रदेश और मुख्य सचिव का पुतला फूंके जाने के मामले को लेकर हंगामा मचा हुआ है। इस मामले में बुधवार को बार एसोसिएशन गाजियाबाद ने अधिवक्ता हरेंद्र कुमार गौतम एडवोकेट जनपद गाजियाबाद के खिलाफ कारण बताओ नोटिस जारी किया है। इसमें अध्यक्ष राकेश कुमार त्यागी कैली और सचिव स्नेह कुमार त्यागी ने अधिवक्ता हरेंद्र कुमार गौतम से पूछा है कि उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी का पुतला अन्य अधिवक्ताओं के साथ मिलकर दहन किया गया जबकि ना तो बार काउंसिल आॅफ उत्तर प्रदेश और ना ही बार एसोसिएशन गाजियाबाद का मुख्यमंत्री के पुतला दहन का कोई कार्यक्रम था। इसके लिए अधिवक्ता हरेंद्र गौतम को 8 सितंबर तक अपना जवाब देना है अगर उन्होंने 8 सितंबर तक अपना स्पष्टीकरण बार एसोसिएशन गाजियाबाद को नहीं सौंपा तो बार एसोसिएशन अनुशासनात्मक कार्रवाई भी करेगी।
अधिवक्ता हरेंद्र ने जारी किया बयान
इस पूरे मामले पर अधिकतर हरेंद्र कुमार गौतम ने अपना बयान जारी किया है। उन्होंने कहा है कि उन्होंने बार सचिन के कहने पर यह पुतला प्रदर्शन कार्यक्रम किया था, जिसमें मुख्यमंत्री का पुतला फूंका गया था। उधर वकीलों के बीच भी गुटबाजी की चर्चाएं चल रही हैं।
बार एसोसिएशन ने सीएम के पुतला फूंके जाने की निंदा
बार एसोसिएशन गाजियाबाद के अध्यक्ष राकेश कुमार त्यागी कैली और सचिव स्नेह त्यागी ने बार एसोसिएशन गाजियाबाद की ओर से सोशल मीडिया पर वायरल हो रही एक वीडियो जिसमें मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के पुतला दहन किया गया है साथ ही अपमानित किए जाने वाला कृत्य किया गया है उसकी निंदा की गई है। साथ ही कहा है कि जिस तरीके से मुख्यमंत्री का पुतला फूंंका गया है। उसमें बार एसोसिएशन गाजियाबाद का कोई रोल नहीं है।
बीते 12 दिनों से प्रभावित है गाजियाबाद कचहरी का कामकाज
गाजियाबाद कचहरी में बीते लगभग दो सप्ताह से कामकाज ठप चल रहा है। रोजाना तारीख पर तारीख मिल रही है। बीते कई दिनों से लगातार हापुड़ में वकीलों पर हुए लाठीचार्ज के विरोध में और बार काउंसिल आफ उत्तर प्रदेश के दिशा निर्देश पर हड़ताल चल रही है। बुधवार को भी कचहरी गाजियाबाद में हड़ताल रही। हालांकि वकीलों ने बैठक अवश्य की थी, वहीं गुरुवार को जन्माष्टमी का अवकाश है और शुक्रवार को भी हड़ताल की पूर्व घोषणा कर दी गई है। 9 सितंबर को अगर हड़ताल रहती है, तो इस दिन आयोजित होने वाली लोक अदालत का भी अधिवक्ता बहिष्कार कर सकते हैं। 10 सितंबर का रविवार है लिहाजा अब सोमवार को ही अगर स्थिति सामान्य होती है तो गाजियाबाद कचहरी में कामकाज शुरू होगा। वहीं वकीलों और पुलिस के बीच जारी विवाद के चलते बीते लगभग एक सप्ताह से पुलिस कोर्ट से दूरी बनाकर चल रही है।