नई दिल्ली. वन नेशन, वन इलेक्शन की कमेटी को लेकर केंद्र सरकार ने शनिवार (2 सितंबर) को नोटिफिकेशन जारी कर दिया. पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद की अध्यक्षता में आठ सदस्यीय समिति बनाई गई.
कमेटी के चेयरमैन पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद हैं. वहीं समिति में सदस्य गृह मंत्री अमित शाह, कांग्रेस सांसद अधीर रंजन चौधरी, पूर्व सीएम गुलाम नबी आजाद, वित्त कमीशन के पूर्व चेयरमैन एनके सिंह, सुभाष सिंह कश्यप, हरीश साल्वे और संजय कोठारी हैं. कमेटी का कार्यकाल स्पष्ट नहीं है. समिति को यथाशीघ्र रिपोर्ट देने को कहा गया है.
कमेटी को क्या कहा जाएगा?
कमेटी का नाम उच्च स्तरीय समिति और अंग्रेज़ी में एचएलसी कहा जाएगा. विधियों न्याय विभाग के सचिव नितेन चंद्र इसका हिस्सा होंगे. नितेन चंद्र एचएलसी के सचिव भी होंगे. इसके अलावा कमेटी की बैठक में केंद्रीय न्याय मंत्री अर्जुन राम मेघवाल मौजूद रहेंगे. दरअसल एक राष्ट्र, एक चुनाव का मतलब लोकसभा और विधानसभा के चुनाव एक साथ कराना है.
एक देश-एक चुनाव की वकालत खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कर चुके हैं
इस बिल के समर्थन के पीछे सबसे बड़ा तर्क यही दिया जा रहा है कि इससे चुनाव में खर्च होने वाले करोड़ों रुपये बचाए जा सकते हैं. पैसों की बर्बादी से बचना प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कई मौकों पर वन नेशन-वन इलेक्शन की वकालत कर चुके हैं. इसके पक्ष में कहा जाता है कि एक देश-एक चुनाव बिल लागू होने से देश में हर साल होने वाले चुनावों पर खर्च होने वाली भारी धनराशि बच जाएगी.