गाजा| गाजा पट्टी में सत्तारूढ़ हमास ने मंगलवार को कहा कि पूर्वी जेरूशलम में अल अक्सा मस्जिद में शत्रुतापूर्ण व्यवहार का फैलाव और इजरायल की ऐसी ही अन्य हरकतें ‘युद्ध का ऐलान’ हैं। (international news) समाचार एजेंसी सिन्हुआ के मुताबिक हमास के प्रवक्ता सामी अबु जुहरी ने ई-मेल से भेजे एक बयान में कहा है, “इससे पहले कि पूरा मामला विस्फोटक रूप अख्तियार कर जाए, अंतर्राष्ट्रीय समुदाय को इजरायल के अपराध को रोकने के लिए दखल देना चाहिए। ”
जेरूशलम में इजरायल और फिलिस्तीनियों के बीच तीन दिन से बने तनाव की तरफ इशारा करते हुए अबु जुहरी ने कहा, “फिलिस्तीन की जनता इजरायल की आपराधिक योजनाओं को कभी भी हकीकत का रूप नहीं लेने देगी।”
फिलिस्तीनी प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि जेरूशलम और अल अक्सा मस्जिद प्रांगण में फिलिस्तीनियों, नमाजियों और इजरायली पुलिस के बीच तीखी झड़पें हुई हैं।
नमाजियों को मस्जिद इलाके से बाहर निकालने के लिए पुलिस ने आंसू गैस के गोले छोड़े और रबर की गोलियां चलाईं। इससे कई नमाजी जख्मी हो गए।
पुलिस का कहना है कि वह मस्जिद से नमाजियों को इसलिए निकालना चाहती है ताकि यहूदी श्रद्धालु इसके प्रांगण में दाखिल हो सकें और यहूदी नववर्ष पर विशेष प्रार्थना कर सकें।
प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि झड़प के दौरान मस्जिद की तरफ जाने वाले पुराने दरवाजे, खिडकियों को नुकसान पहुंचा। कुछ कालीनें जल भी गईं।
इस बीच फिलिस्तीन मुक्ति संगठन की निर्वासित संसद फिलिस्तीन नेशनल काउंसिल (पीएनसी) ने जेरूशलम में हिंसा और इजरायल की विस्तार की नीति की निंदा की।
पीएनसी ने कहा है कि इजरायल की बर्बरता को तभी रोका जा सकता है जब फिलिस्तीनी, अरब और मुसलमान अल अक्सा मस्जिद को बचाने के लिए नए फैसले लें।
फिलिस्तीन चाहता है कि नए फिलिस्तीनी देश के अस्तित्व में आने पर जेरूशलम को उसकी राजधानी बनाया जाए। फिलिस्तीनी देश उन फिलिस्तीनी इलाकों को मिलाकर बनाया जाना है जिन पर 1967 की जंग में इजरायल ने कब्जा कर लिया था।
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