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झारखंड

झारखंड में भाजपा का सदस्यता अभियान पड़ा धीमा

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रांची| झारखंड में सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) का सदस्यता अभियान अपनी रफ्तार खोता दिख रहा है।(BJP hindi news)

राज्य में 31 जुलाई को समाप्त हुए महासंपर्क अभियान के जरिए भाजपा को 45 लाख संभावित सदस्यों ने मिस्ड कॉल दिए हैं।

भाजपा कार्यकर्ता को इन लोगों के घर जाना था और उन्हें सदस्य बनाने में मदद करनी थी।

पार्टी सूत्रों ने कहा कि अधिकांश पार्टी कार्यकर्ता ऐसा नहीं कर पाए। विशेष अभियान में तय किए गए लक्ष्य से करीब 50 फीसदी लोगों को भी पार्टी का सदस्य नहीं बनाया जा सका है।

झारखंड में पार्टी इकाई के उपाध्यक्ष दीपक प्रकाश ने  बताया, “महासंपर्क अभियान जारी रहेगा। जुलाई में विशेष अभियान चला था। हम अपना लक्ष्य प्राप्त करेंगे।

उन्होंने कहा, “मानसून सहित कई वजहों से पार्टी इच्छित परिणाम नहीं पा सकी।”

लेकिन पार्टी सूत्रों का कुछ और ही कहना है।

वे कहते हैं कि भाजपा कार्यकर्ताओं की तरफ से उत्साह न दिखाए जाने की कई वजहें हैं।

भाजपा भले ही राज्य में पहली बार बहुमत की सरकार में है, लेकिन इसने अपने कार्यकर्ताओं के योगदान को नहीं पहचाना है।

इसके अतिरिक्त, बोर्ड तथा निगमों की स्थापना न करने से भी पार्टी कार्यकर्ता असंतुष्ट हैं।

कईयों का मानना है कि न तो अधिकारी और न ही सरकारी मशीनरी उनकी समस्या पर ध्यान देती है।

मुख्यमंत्री रघुबर दास का कहना है कि भाजपा कार्यकर्ताओं को पार्टी पद या अधिकारियों के स्थांतरण या तैनाती को लेकर लॉबिग नहीं करनी चाहिए, जो उनके लिए ठीक नहीं।

पार्टी के एक वरिष्ठ कार्यकर्ता ने नाम प्रकाशित न करने की शर्त पर बताया कि भाजपा सरकार ने पिछले छह महीने में कोई बड़ी उपलब्धि हासिल नहीं की है, चाहे वो कानून व्यवस्था, स्वास्थ्य, रोजगार या अन्य क्षेत्र से हो।

एक सूत्र ने कहा, “मुख्यमंत्री ने खुद राज्य में बिजली की स्थिति में सुधार न होने पर जनता से माफी मांगी है।”

महासंपर्क अभियान को लेकर उत्साह की कमी से पार्टी नेता का सिरदर्द बढ़ गया है, क्योंकि भाजपा अध्यक्ष अमित शाह इसको लेकर काफी गंभीर हैं और वह किसी भी कीमत पर इस लक्ष्य को पूरा करना चाहते हैं।

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झारखंड उच्च न्यायालय ने राज्य सरकार के कर्मचारियों की पदोन्नति पर रोक लगाई

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रांची,न्यायमूर्ति एसएन पाठक ने गुरुवार को एक याचिका पर सुनवाई करते हुए यह आदेश पारित किया जिसमें दावा किया गया था कि पुलिस विभाग के हालिया फैसले से सामान्य श्रेणी के कर्मचारियों की पदोन्नति पाने की संभावना बाधित होगी।झारखंड उच्च न्यायालय ने राज्य में सरकारी विभागों में सभी कर्मचारियों की पदोन्नति पर प्रतिबंध लगा दिया है।न्यायमूर्ति एसएन पाठक ने गुरुवार को एक याचिका पर सुनवाई करते हुए यह आदेश पारित किया जिसमें दावा किया गया था कि पुलिस विभाग के हालिया फैसले से सामान्य श्रेणी के कर्मचारियों की पदोन्नति पाने की संभावना बाधित होगी।अदालत ने पुलिस महानिदेशक नीरज सिन्हा और राज्य सरकार को इस मामले में हलफनामा दाखिल करने का आदेश दिया।सुनवाई की अगली तारीख 18 अगस्त तय की गई है।याचिकाकर्ता श्रीकांत दुबे ने प्रस्तुत किया कि उप-निरीक्षक (एसआई) के पद पर सहायक उप-निरीक्षकों (एएसआई) को पदोन्नति देने पर डीजीपी या शीर्ष पुलिस अधिकारी ने 23 जून को एक आदेश जारी किया।याचिकाकर्ता के अनुसार, शीर्ष पुलिस वाले के आदेश में कहा गया है कि आरक्षित श्रेणी के एएसआई सामान्य श्रेणी में पदोन्नति की मांग कर सकते हैं।याचिकाकर्ता ने कहा कि सामान्य वर्ग के लोगों को ऐसी कोई स्वतंत्रता नहीं दी जाती है।उन्होंने दावा किया कि इससे पुलिस बल में सामान्य और आरक्षित श्रेणियों के एएसआई के बीच विभाजन भी होगा।याचिकाकर्ता ने कहा कि आरक्षित वर्ग के उम्मीदवारों को एक फायदा मिलेगा, जबकि सामान्य वर्ग के उम्मीदवारों को पदोन्नति पाने में बाधाओं का सामना करना पड़ेगा क्योंकि उनके लिए (एसआई) पदों की संख्या कम हो जाएगी।इससे पहले जनवरी 2020 में, राज्य सरकार ने एससी / एसटी आरक्षण नियमों के अनुपालन पर कर्मचारियों की पदोन्नति पर खुद ही रोक लगा दी थी। इस मामले को उच्च न्यायालय में चुनौती दी गई थी जिसने सरकार से इस साल जनवरी में प्रतिबंध हटाने को कहा था।

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झारखंड

झारखंड के विधायकों के कब्जे में पैसा कोलकाता में था, बड़े गेम प्लान का हिस्सा, सीआईडी अधिकारी कहते हैं|

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कांग्रेस विधायकों के पास मिली बड़ी नकदी का स्रोत कोलकाता में था न कि असम में, और तीनों कथित तौर पर एक बड़े गेम प्लान वाले लोगों के इशारे पर काम कर रहे थे। इस मामले की जांच कर रहे पश्चिम बंगाल के सीआईडी ​​अधिकारी ने कहा कि झारखंड के अब निलंबित कांग्रेस विधायकों के पास मिली बड़ी नकदी का स्रोत कोलकाता में था, न कि असम में। पहले कहा गया था कि पैसा पूर्वोत्तर राज्य से मंगवाया गया था। हालाँकि, CID अधिकारी ने उस गेम प्लान के बारे में ज्यादा कुछ नहीं बताया, जिसका वह जिक्र कर रहे थे, लेकिन यह खुलासा किया कि पैसा उस राशि का एक अंश था जो चीजों की बड़ी योजना में शामिल था। बंगाल पुलिस को शनिवार को एक वाहन से करीब 49 लाख रुपये नकद मिले, जिसमें कांग्रेस के तीन विधायक इरफान अंसारी, राजेश कच्छप और नमन बिक्सल कोंगारी यात्रा कर रहे थे। बाद में विधायकों को गिरफ्तार कर एक अदालत में पेश किया गया, जहां से उन्हें 10 दिन की सीआईडी ​​हिरासत में भेज दिया गया। “वसूली के पैसे का स्रोत कोलकाता में था। विधायक कुछ ऐसे लोगों के इशारे पर काम कर रहे थे जिनके पास बड़ा गेम प्लान है।” प्रत्येक विधायक को 10 करोड़, भगवा खेमे ने एक आरोप का खंडन किया। बंगाल में सत्तारूढ़ टीएमसी ने भी भाजपा के खिलाफ इसी तरह के आरोप लगाए हैं। सीआईडी ​​अधिकारी के अनुसार तीनों विधायक एक मध्यस्थ के साथ गुवाहाटी गए थे, जहां किसी प्रभावशाली व्यक्ति के साथ सौदा हो गया। इसके बाद तीनों ने कोलकाता के लिए उड़ान भरी और सडर स्ट्रीट के एक होटल में ठहरे। होटल में उनका एक और युवा कांग्रेस नेता इंतजार कर रहा था, जिन्होंने यहां एक व्यापारी से मुलाकात की और उन्हें अपने कार्यालय से पैसे दिलवाए। विधायकों ने बिना रजिस्ट्रेशन कराए ही होटल में धरना दिया था। होटल प्रबंधक को पूछताछ के लिए बुलाया गया है, सीआईडी ​​अधिकारी ने समझाया। उन्होंने कहा कि युवा कांग्रेस नेता का पता लगाने के प्रयास चल रहे हैं, उन्होंने कहा कि पुलिस ने होटल में सभी गतिविधियों के सबूत के तौर पर होटल के सीसीटीवी फुटेज को हाथ में लिया है|

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झारखंड

झारखंड में बस और ट्रक के बीच आमने-सामने टक्कर में आठ लोगों की मौत, 25 घायल

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रांची । झारखंड के पाकुड़ जिले में साहिबगंज-गोविंदपुर हाईवे पर बुधवार सुबह एक यात्री बस और गैस सिलिंडर लदे ट्रक के बीच आमने-सामने हुई टक्कर में आठ लोगों की मौत हो गयी है। हादसे में लगभग 30 लोग घायल हैं, जिन्हें इलाज के लिए अमड़ापाड़ा ब्लॉक हॉस्पिटल में दाखिल कराया गया है। आशंका है कि कई लोग बस में फंसे हो सकते हैं, ऐसे में मृतकों की संख्या बढ़ सकती है। बताया गया कि यह हादसा सुबह साढ़े सात बजे कमरडीहा गांव के पास हुआ। इस वक्त घना कोहरा था और विजिब्लिटी बेहद कम थी। पाकुड़ से दुमका की ओर जा रही यात्रियों से भरी कृष्णा रजत बस और सामने से आ रहे गैस सिलेंडर लदे ट्रक के बीच आपस में जबर्दस्त टक्कर हो गयी। हादसा इतना भयंकर था कि दोनों गाड़ियों के परखच्चे उड़ गये। बस पर सवार कई यात्री सड़क पर जा गिरे। दोनो गाड़ियों के चालकों ने भी मौके पर ही दम तोड़ दिया। बस के खलासी की भी मौत हो गयी है।

हादसे के बाद बड़ी संख्या में ग्रामीण इकट्ठा हुए। घटनास्थल पर चीख-पुकार मची थी। पुलिस के पहुंचने के बाद लोगों की मदद से यात्रियों को बाहर निकाला गया। बुरी तरह दुर्घटनाग्रस्त बस से लोगों को निकालने में भारी परेशानी हुई। लगभग तीन घंटे के बाद गैस कटर मंगाया गया है। मृतकों में फिलहाल किसी की पहचान नहीं हो पायी है। सभी शवों को पोस्टमार्टम के लिए सदर अस्पताल भेजा गया है। दुर्घटनाग्रस्त गाड़ियों को हाईवे से खबर लिखे जाने तक नहीं हटाया जा सका है।

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