Ghaziabad: उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद जिले में हाल ही में आई एक घिनौनी घटना ने समाज में हलचल मचा दी है, जिससे मानवता शर्मसार हो गई है। इस मामले में एक महिला के साथ ससुराल वालों द्वारा बर्बरता की सारी हदें पार की गई हैं। महिला के बाल काटे गए और उसके निजी अंगों को भी मोमबत्ती से जला दिया गया। इसके बाद, ससुराल वालों ने इस घटना को वीडियो बनाया और सोशल मीडिया पर वायरल करने की धमकी दी।
मामले का पूरा विवरण
इस घटना का केंद्र गाजियाबाद जिले के टीला मोड़ क्षेत्र में हुआ। यहां पर एक 28 वर्षीय महिला निवास करती हैं, जिनके ससुराल वाले ने उन्हें उनके घर में बंद करके रखा था। इसके बाद, महिला की जेठ बेटी ने किसी तरह उन्हें घर से भगाने में मदद की। महिला ने उसके पति की बर्बरता की शिकायत दिल्ली पुलिस को की, लेकिन उन्हें वहाँ से इंसाफ नहीं मिला। इसके बाद, वह अपने पापा के साथ अपने मायके गाजियाबाद चली गई।
माता का कथन
पीड़िता की माता ने बताया कि उनकी बेटी की शादी 8 वर्ष पहले दिल्ली के न्यू मुस्तफाबाद वाले रिहान से हुई थी। लेकिन शादी के बाद ही, दहेज की मांग के चलते रिहान और उसके परिवार वाले बेटी के साथ बर्बरता करने लगे थे। पीड़िता ने बताया कि उसके पति ने उसके बाल काट दिए और उसकी सास ने इसके दौरान उसके हाथ पकड़े हुए थे। इसके अलावा, पीड़िता की निजी अंगों को मोमबत्ती से जल गया और सिगरेट से भी दागा दिया गया। पीड़िता की मां ने बताया कि उसकी बेटी को उसके घर में कैद करके रख दिया गया था और इस दौरान उसके साथ कई बार मारपीट भी की गई थी।
विस्तार से बताया जाता है कि पीड़िता की मां ने दिल्ली पुलिस को भी इस मामले की सूचना दी थी, लेकिन उन्हें वहां से आदिकारिक योग्य इंसाफ नहीं मिला। इसके बाद पीड़िता अपने पिता के साथ गाजियाबाद के मायके चली गई, जहां ससुराल वाले ने उनके साथ बर्बरता की घटना को वीडियो बनाया और सोशल मीडिया पर वायरल करने की धमकी दी।
यह मामला समाज में आपत्ति का कारण बन गया है और स्थानीय पुलिस इसे गंभीरता से जांच रही है। महिला और मानवाधिकार संगठनों ने भी इस मामले की निष्कर्षा तलाशने का आग्रह किया है। इस मामले में पीड़िता के साथ हुआ अत्याचार और उसके बाद की धमकी कानून के खिलाफ है और इस पर सख्त कार्रवाई होनी चाहिए। महिला सुरक्षा और मानवाधिकारों की सुरक्षा में और भी मजबूती की जरूरत है, ताकि वर्तमान समय में इस तरह के घटनाओं को रोका जा सके और दोषियों को सख्त सजा मिले।
यह एक बार फिर साबित करता है कि महिलाओं की सुरक्षा और समाज में उनके साथ न्याय की आवश्यकता है, और समाज को इस प्रकार की घटनाओं के खिलाफ सजाग रहना चाहिए।आखिर में, हमें यह समझना होगा कि इस तरह की बर्बरता और हिंसा किसी भी समाज के लिए अस्वीकार्य है, और हमें इसके खिलाफ एकजुट होकर लड़ना होगा। हम सभी को महिलाओं के साथ न्याय और समानता की दिशा में कदम बढ़ाने के लिए साथ आना होगा, ताकि हम समाज में इस तरह की घटनाओं को रोक सकें और दोषियों को सख्त सजा मिले।